tag:blogger.com,1999:blog-163394964992398375.post5905016713647431579..comments2023-10-21T20:39:48.010+05:30Comments on महफ़िल-ए-नाशाद: नरेश चन्द्र बोहराhttp://www.blogger.com/profile/02704671927129198311noreply@blogger.comBlogger19125tag:blogger.com,1999:blog-163394964992398375.post-30206020564258955042010-07-08T21:36:02.524+05:302010-07-08T21:36:02.524+05:30क्या हसीन ग़ज़ल है. सभी ने इतनी तरफ लिखी है. अब मे...क्या हसीन ग़ज़ल है. सभी ने इतनी तरफ लिखी है. अब मेरी क्या औकात .मेरी तो उम्र भी बहुत कम है.Dil Chauhanhttp://cdnoreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-163394964992398375.post-79502911167343892532010-07-08T21:33:46.705+05:302010-07-08T21:33:46.705+05:30हर शेर में एक नसीहत. कितनी तरफ करूँ . बहुत अच्छी ह...हर शेर में एक नसीहत. कितनी तरफ करूँ . बहुत अच्छी है.Anonymoushttps://www.blogger.com/profile/11319788561526388195noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-163394964992398375.post-54543868421247262382010-07-08T21:27:29.627+05:302010-07-08T21:27:29.627+05:30ये क्या हो गया है नरेशजी!!!!!!!! उदासी कहाँ चली गई...ये क्या हो गया है नरेशजी!!!!!!!! उदासी कहाँ चली गई. पहले तो आपने मुझे दर्द भरी गज्लने और कवितायें पढने की आदत डाली और अब ऐसी ग़ज़लें आयर गीत लिखकर मेरी पसंद बदल रहे हैं. ये गलत बात है. सही में आज तो मजा आ गया. दिल बाग़ बाग़ हो गया; नहीं दिल मौहब्बत मौहब्बत हो गया..Anonymoushttps://www.blogger.com/profile/17964101510621432330noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-163394964992398375.post-9749770939512709842010-07-08T21:24:38.874+05:302010-07-08T21:24:38.874+05:30मौहब्बत बड़े काम की चीज है --- ये गीत याद आ गया. व...मौहब्बत बड़े काम की चीज है --- ये गीत याद आ गया. वाह वाह नरेशजी. वाह वाह नरेशजी.Anonymoushttps://www.blogger.com/profile/15574049551654680111noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-163394964992398375.post-64137607342548616342010-07-08T21:20:54.161+05:302010-07-08T21:20:54.161+05:30ख्वाब चाहे जितने भी आप महबूब के देख लो मगर
सभी की ...ख्वाब चाहे जितने भी आप महबूब के देख लो मगर<br />सभी की किस्मत में ख्वाबों की ताबीर नहीं होती है<br />मौहब्बत की तमाम सच्चाईयां इस ग़ज़ल में आपने बयाँ की है. मुझे तो तारीफ़ करना भी नहीं आता.Anonymoushttps://www.blogger.com/profile/15271360311437453844noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-163394964992398375.post-76140793553914108872010-07-08T21:17:07.413+05:302010-07-08T21:17:07.413+05:30क्या मौहब्बत है सर जी. आनंद ही आनंद फ़ैल गया.क्या मौहब्बत है सर जी. आनंद ही आनंद फ़ैल गया.Armaan Grewaalhttp://agnoreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-163394964992398375.post-14603163847563957752010-07-08T21:14:40.755+05:302010-07-08T21:14:40.755+05:30बेहद सुन्दर. नरेशजी; आपने मौहब्बत को अपनी रचनाओं स...बेहद सुन्दर. नरेशजी; आपने मौहब्बत को अपनी रचनाओं से एक नया आयाम दे दिया है. मेरी हार्दिक बधाई.Anonymoushttps://www.blogger.com/profile/11885498636420272831noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-163394964992398375.post-53433413542252699202010-07-08T17:25:17.706+05:302010-07-08T17:25:17.706+05:30jnaab mohbbt pr doktret to kr li he lekin mohbbt ...jnaab mohbbt pr doktret to kr li he lekin mohbbt kaa faarmulaa hmen bhi to btaao kese hoti he hm to bhaai akele hen . akhtar khan akela kota rajsthanआपका अख्तर खान अकेलाhttps://www.blogger.com/profile/13961090452499115999noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-163394964992398375.post-2661566685651144712010-07-08T14:46:08.156+05:302010-07-08T14:46:08.156+05:30चाहे कोई लाख छुपाये अपनी मौहब्बत की बात को
आँखों क...चाहे कोई लाख छुपाये अपनी मौहब्बत की बात को<br />आँखों की हया होंठों की मुस्कान से ये बयाँ होती हैAnonymoushttps://www.blogger.com/profile/10334979598994346183noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-163394964992398375.post-12129613051910328712010-07-08T14:44:42.931+05:302010-07-08T14:44:42.931+05:30कोई ये बताये कि नाशाद नाम का शायर अपने नाम के साथ ...कोई ये बताये कि नाशाद नाम का शायर अपने नाम के साथ इन्साफ क्यों नहीं कर रहा है. नाम है नाशाद और हर किसी को मौहब्बत बड़े जोश से सिखा रहा है. मेरी भी अमीना जी की तरह मांग है कि आप अपना नाम बदल लेन. जानदार ग़ज़ल है हुजुर. क्या कहने आपके.Auribindo Mukhopadhyayahttp://cfnoreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-163394964992398375.post-19062965006538199762010-07-08T14:41:59.220+05:302010-07-08T14:41:59.220+05:30हर बात में मौहबत का रंग है. क्या कही है - ख्वाब चा...हर बात में मौहबत का रंग है. क्या कही है - ख्वाब चाहे जितने भी आप महबूब के देख लो मगर<br />सभी की किस्मत में ख्वाबों की ताबीर नहीं होती हैNaresh Kapoorhttp://nknoreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-163394964992398375.post-34744329474577612082010-07-08T14:40:23.978+05:302010-07-08T14:40:23.978+05:30इस ग़ज़ल ने एक अलग माहौल बना दिया मेरे मन में. आपन...इस ग़ज़ल ने एक अलग माहौल बना दिया मेरे मन में. आपने बहुत ही अच्छी ग़ज़ल लिखी है.Anonymoushttps://www.blogger.com/profile/10454205802603851296noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-163394964992398375.post-87258402725950246212010-07-08T14:38:13.716+05:302010-07-08T14:38:13.716+05:30ये दिल से दिल की बात है दिल ही से महसूस होती है
मौ...ये दिल से दिल की बात है दिल ही से महसूस होती है<br />मौहबत का बड़ा ही सुन्दर चित्रण हु है. बेहद सुन्दर.Anonymoushttps://www.blogger.com/profile/00998868493773725642noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-163394964992398375.post-68678211626693992752010-07-08T13:58:21.876+05:302010-07-08T13:58:21.876+05:30ना बातों से ना ही खतों से ये कभी महसूस होती है
ये ...ना बातों से ना ही खतों से ये कभी महसूस होती है<br />ये दिल से दिल की बात है दिल ही से महसूस होती है<br />एक अच्छे और कामयाब शायर के सभी गुण आपकी इस ग़ज़ल में झलके हैं.Anonymoushttps://www.blogger.com/profile/11856493179368233616noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-163394964992398375.post-6489735866920219362010-07-08T13:57:11.373+05:302010-07-08T13:57:11.373+05:30बड़ी अच्छी ग़ज़ल है. मौहब्बत से भरी हुई. जिसे मौहब...बड़ी अच्छी ग़ज़ल है. मौहब्बत से भरी हुई. जिसे मौहब्बत नहीं हुई आपने उन्हें भी सांत्वना दे दी है कि सब के किस्मत में नहीं होती है. लेकिन फिर भी किस्मत आजमाते रहो क्यूंकि आपने यह भी लिख दिया है कि एक बार होकर ही रहती है.Unknownhttps://www.blogger.com/profile/10228714298767978041noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-163394964992398375.post-62717557752941199622010-07-08T13:55:02.911+05:302010-07-08T13:55:02.911+05:30मौहब्बत आसां नहीं तो मुश्किल भी नहीं होती है
नाशाद...मौहब्बत आसां नहीं तो मुश्किल भी नहीं होती है<br />नाशाद लेकिन ये सबके नसीब में भी नहीं होती है<br />ग़ज़ल का सबसे बढिया शेरAnonymoushttps://www.blogger.com/profile/00375998643494544419noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-163394964992398375.post-15022791283914834432010-07-08T13:53:58.120+05:302010-07-08T13:53:58.120+05:30बहुत खूब. मौहब्बत की रंगीनीयाँ बड़ी ही अच्छी लगी.बहुत खूब. मौहब्बत की रंगीनीयाँ बड़ी ही अच्छी लगी.Shankar Raankahttp://dfnoreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-163394964992398375.post-88883035182103795822010-07-08T13:52:37.591+05:302010-07-08T13:52:37.591+05:30नाशाद साहब; बहुत शानदार. बहुत ही खूब लिखा है आपने....नाशाद साहब; बहुत शानदार. बहुत ही खूब लिखा है आपने. अब तो आप अपना नाम बदल लीजिये.<br />चाहे कोई लाख छुपाये अपनी मौहब्बत की बात को<br />आँखों की हया होंठों की मुस्कान से ये बयाँ होती हैAnonymoushttps://www.blogger.com/profile/14246307342328844406noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-163394964992398375.post-85368886161916677432010-07-08T13:50:13.250+05:302010-07-08T13:50:13.250+05:30मौहब्बत सब के नसीब में नहीं होती ये सच है. फिर भी...मौहब्बत सब के नसीब में नहीं होती ये सच है. फिर भी आप कहते हो कि एक बार होकर रहती है. ये कैसे हो सकता है. क्या ऐसा संभव है? मुझे नहीं लगता. लेकिन ग़ज़ल बहुत ही अच्छी लगी. बहुत प्यारी.Unknownhttps://www.blogger.com/profile/12573639224070966302noreply@blogger.com